गत 3 मई को मुंबई के विले पार्ले में स्थित अनिल सुरेंद्र मोदी स्कूल ऑफ कॉमर्स (एएसएमएसओसी) में बैचलर ऑफ बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन (बीबीए) कोर्स के पहले और दूसरे वर्ष के लगभग 70 छात्र मौजूद थे, हालांकि उनका शैक्षणिक सत्र तीन दिन पहले 30 अप्रैल को समाप्त हो गया था. इन छात्रों को फाइनल एग्जाम के लिए फिर से आना पड़ा था क्योंकि वे सत्र के दौरान अनिवार्य 80 प्रतिशत उपस्थिति का मानक पूरा करने में विफल रहे थे. संस्थान के कठोर नियम से ये छात्र परेशान नहीं दिख रहे थे. उन्हें पता था कि ये नियम अनुशासन स्थापित करने के लिए हैं. दूसरे वर्ष के फुटबॉल प्रेमी छात्र विहान हिंगोरानी कहते हैं, ''80 फीसद उपस्थिति का नियम अच्छा है. हमारे यहां पढ़ाई और खेल का अच्छा संतुलन है.''
डीन संगीता खेर की मेज पर वे ट्रॉफियां सजी रखी हैं जो उनके छात्रों ने खेल और वाद-विवाद प्रतियोगिताओं में हासिल की हैं. वे सामने लगे व्हाइटबोर्ड पर लिखे एक अंक की ओर इशारा करती हुई बताती हैं, ''इस साल, हमें प्रथम वर्ष की 600 सीटों के लिए देश भर से लगभग 12,000 आवेदन मिले हैं. ऐसे में यह काम बहुत कठिन होने वाला है.'' छात्रों को यहां प्रवेश परीक्षा के माध्यम से चुना जाता है.
बारह साल पहले 2007 में स्थापित एएसएमएसओसी अपने शानदार शैक्षणिक रिकॉर्ड के कारण भारत में स्नातक स्तर पर व्यवसायिक शिक्षा के लिए सबसे अधिक मांग वाले कॉलेजों में से एक बन गया है.
यहां केवल बिजनेस एडमिनिस्ट्रेशन ही नहीं पढ़ाया जाता बल्कि पर्यावरण प्रबंधन, सामाजिक-राजनैतिक और करेंट अफेयर्स तथा फाइनेंस और मार्केटिंग से भी परिचित कराया जाता है.
तीसरे वर्ष में डेटा एनालिटिक्स एक मुख्य विषय है. यहां को छात्रों हजारों लोगों के डेटा में से काम की जानकारी पहचानना सिखाया जाता है.
कॉलेज के बोर्ड ऑफ स्टडीज में उद्योग जगत की मशहूर हस्तियां जैसे क्रिसिल के मुख्य कार्यकारी अधिकारी आशु सुयश, आइसीआइसीआइ सिक्योरिटीज के प्रबंध निदेशक और सीईओ विजय चंडोक, अन्सर्ट ऐंड यंग के पार्टनर सुधीर सोनी; और उद्यमी अभिजीत विश्वास आदि हैं.
इनके कारण संस्थान में छात्रों को अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी, उद्योग में अंतर्दृष्टि और व्यवसाय विकास के नवीनतम रुझानों का पता चलता रहता है. ऐसे में कोई आश्चर्य नहीं कि एएसएमएसओसी के पूर्व छात्रों ने पिछले तीन वर्षों में 45 स्टार्ट-अप कंपनियां शुरू की हैं.
एएसएमएसओसी का जोर छात्रों में विश्लेषणात्मक कौशल विकसित करने और विभिन्न प्रबंधकीय परिस्थितियों का सामना करते हुए अवधारणात्मक ज्ञान, उपकरणों और तकनीकों को लागू करने के लिए प्रोत्साहित करने पर रहता है. इससे छात्रों को उद्योगों से परिचित होने में मदद मिलती है.
सिद्धांत और अनुप्रयोग का संयोग छात्रों को वास्तविक दुनिया की चुनौतियों और समस्याओं का सामना करने के लिए बेहतर तरीके से तैयार करता है.
स्टूडेंट्स एक्सचेंज प्रोग्राम ने छात्रों के लिए दुनिया खोल दी है. मसलन, जर्मनी और फ्रांस के छात्र एएसएमएसओसी में पढऩे आते हैं. जर्मनी के बामबर्ग विश्वविद्यालय की अन्ना ट्रैबर्ट ऐसी ही एक छात्रा थी. राजस्थानी चूडिय़ों पर उनके बिजनेस प्लान को चारों ओर से व्यापक सराहना मिली है.
पढ़ाई से अलग, संस्थान में उपलब्ध शानदार खेल सुविधाएं छात्रों को ऊर्जावान बनाए रखती हैं. हिंगोरानी याद करते हैं कि एएसएमएसओसी में आने से पहले कैसे वे अपना अधिकांश समय घर पर बिताते थे.
''अब, मैं कॉलेज के जीवन में बहुत सक्रिय हूं. जब आप प्यार से बोलने वाले संकाय सदस्यों से मिलते हैं, तो आप उनसे बहुत कुछ सीखते हैं. मैं अपने संस्थान के शिक्षकों के साथ फुटबॉल विश्व कप पर भी चर्चा कर सकता हूं.''
एएसएमएसओसी का प्लेसमेंट प्रभावशाली रहा है जिसके कारण अन्सर्ट ऐंड यंग, प्यूचर फर्स्ट, नोमुरा, डीई-शॉ, ट्रेसविस्टा और बार्कलेज जैसी कंपनियां कॉलेज परिसर में आई हैं. पिछले साल यहां के छात्रों को मिला उच्चतम पैकेज 14 लाख रुपए था.
खेर का दृढ़ विश्वास है कि ज्ञान ही सफलता की कुंजी है. वे कहती हैं कि उनके छात्रों को पता है कि वे क्या करना चाहते हैं. उनका कहना है, ''यह विश्वास ज्ञान से आता है. आप औरों से अलग तभी होते हैं जब आप जानते हैं कि चीजों का प्रबंधन कैसे किया जाए.''
गुरु वाणी
प्रो. संगीता खेर,
डीन, एएसएमएसओसी
एएसएमएसओसी दूसरों से किस तरह अलग है?
उद्योग और शिक्षाजगत के विशेषज्ञों के हाथों डिजाइन किया गया अद्वितीय पाठ्यक्रम, कॉर्पोरेट जगत में अग्रणी रहे अनुभवी संकाय सदस्य
शिक्षण में नवाचार, प्रौद्योगिकी का उपयोग, क्षेत्र में वास्तविक कार्यानुभव; ताजा डेटा पर काम करने के लिए छात्रों को ब्लूमबर्ग ट्रमिनल से जोड़ा गया है और इनकी परीक्षा कॉर्पोरेट सेक्टर के परीक्षक लेते हैं
कौशल बढ़ाने पर अधिक ध्यान दिया जाता है; शिक्षण में सांख्यिकी और एक्सेल आदि का उपयोग
यूजीसी स्वीकृत विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में छात्रों के शोध पत्र प्रकाशित होते हैं
खेल, सांस्कृतिक कार्यों और छात्रों में सामाजिक उत्तरदायित्व पैदा करने
पर जोर
पिछले तीन वर्ष में नई पहल
बिजनेस एनालिटिक्स, मार्केटिंग एनालिटिक्स, इन्वेस्टमेंट एनालिसिस, पोर्टफोलियो मैनेजमेंट, वेल्थ मैनेजमेंट, रिस्क मैनेजमेंट और ब्रांड मैनेजमेंट में नए कोर्स शुरू किए
छात्रों को अस्पतालों से निकलने वाले कचरे, डंपिंग ग्राउंड और मैंग्रोव के विनाश जैसे मुद्दों का अध्ययन करने तथा उनका समाधान सुझाने के लिए कहा गया. छात्रों के सुझाए गए समाधानों का मूल्यांकन करने के लिए इस क्षेत्र में काम करने वाले एनजीओ को जोड़ा गया
स्टूडेंट एक्सचेंज प्रोग्राम शुरू किया गया जिसके तहत एएसएमएसओसी के छात्र जर्मनी और फ्रांस के संस्थानों में तथा वहां के छात्र यहां पढ़ते हैं
कॉर्पोरेट सेक्टर में 240 घंटे की अनिवार्य इंटर्नशिप
उद्यमिता सेल शुरू की गई है; छात्रों को पढ़ाने के लिए पेटीएम और जोमैटो जैसी कंपनियों में कार्यरत बाहरी मेंटरों को भी जोड़ा गया
उत्सव का जोश
सिम्बायोसिस, पुणे में निखिल चिनप्पा के शो में थिरकते स्टुडेंट
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